इंसाफ़ टाइम्स डेस्क
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई बिहार कैबिनेट की अहम बैठक में कुल 46 प्रस्तावों पर सहमति दी गई। राज्य सरकार ने यह निर्णय महिला सशक्तिकरण, ग्रामीण विकास और सामाजिक सुरक्षा को केंद्र में रखकर लिया है।
बैठक में जहां जीविका कर्मियों के वेतन को दोगुना किया गया, वहीं राज्य के सभी सरकारी अस्पतालों में मरीजों व परिजनों को अब ₹20 में भोजन उपलब्ध कराने की घोषणा भी की गई। साथ ही, हर पंचायत में ‘मुख्यमंत्री कन्या विवाह भवन’ बनाने की योजना को भी हरी झंडी मिली।
कैबिनेट के फैसले के तहत जीविका समूहों की महिला कर्मियों को अब दोगुना वेतन मिलेगा। उनके लिए ऋण की सीमा भी बढ़ाई गई है, जिससे 94 लाख से अधिक परिवारों को सीधा लाभ होगा।
मुख्यमंत्री द्वारा पंचायत प्रतिनिधियों से सीधे संवाद के बाद उनके मानदेय में 1.5 गुना वृद्धि की गई है। आकस्मिक मृत्यु या सामान्य निधन पर अब उन्हें ₹5 लाख की सहायता राशि दी जाएगी।
‘मुख्यमंत्री कन्या विवाह मंडप योजना’ के तहत राज्य की 8000 से अधिक पंचायतों में विवाह भवनों का निर्माण होगा। इसके लिए ₹4026.50 करोड़ की स्वीकृति दी गई है। इन भवनों का संचालन जीविका समूह की महिलाएं करेंगी।
राज्य के सभी जिला व मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में मरीजों और उनके परिजनों को केवल ₹20 में पौष्टिक भोजन मिलेगा। यह योजना ‘दीदी की रसोई’ के माध्यम से चलाई जाएगी, जहां प्रति थाली ₹40 का खर्च होगा, जिसका आधा राज्य सरकार वहन करेगी।
कैबिनेट ने सामाजिक सुरक्षा पेंशन में भी वृद्धि करते हुए राशि ₹400 से बढ़ाकर ₹1100 प्रति माह कर दी है। यह नई राशि अगले महीने से प्रभावी होगी।
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मुख्य सचिव अमृतलाल मीणा ने बताया कि ये सभी निर्णय मुख्यमंत्री द्वारा महिलाओं और पंचायत प्रतिनिधियों से संवाद के बाद लिए गए हैं। उन्होंने कहा “यह फैसले सामाजिक न्याय और प्रशासनिक सुधार को मजबूती देंगे, खासकर महिलाओं और ग्रामीण समाज के लिए।”