
इंसाफ़ टाइम्स डेस्क
बिहार के प्रसिद्ध इस्लामी शिक्षण संस्थान जामिया रहमानी खानकाह, मुंगेर में वार्षिक “खत्म बुख़ारी शरीफ़” सम्मेलन पूरे सम्मान और शांति के साथ संपन्न हुआ। इस ऐतिहासिक अवसर पर उलेमा-ए-किराम और सैकड़ों छात्रों की उपस्थिति देखी गई।
प्रमुख उलेमा का संबोधन
इस आयोजन में मौलाना मुफ्ती मोइन कौसर क़ासमी, मौलाना जमील अहमद मज़ाहिरी (नाज़िम-ए-तालीमात, जामिया रहमानी मुंगेर) और मौलाना मोहम्मद खालिद रहमानी ने विशेष रूप से शिरकत की और अपने ओजस्वी भाषणों से उपस्थित जनसमूह को मार्गदर्शन दिया।
सम्मेलन के दौरान मौलाना मुफ़्ती अज़हर मज़ाहिरी (शेख़-उल-हदीस, जामिया रहमानी) ने बुख़ारी शरीफ़ की हदीस का व्याख्यान प्रस्तुत किया। वहीं, प्रमुख धर्मगुरु और अमीर-ए-शरीयत मौलाना अहमद वली फैसल रहमानी (सज्जादा नशीन, खानकाह रहमानी मुंगेर) ने बुख़ारी शरीफ़ की अंतिम हदीस का पाठ कर छात्रों को हदीस की इजाज़त प्रदान की और उन्हें महत्वपूर्ण इस्लामी शिक्षाओं से अवगत कराया।
*भारी संख्या में लोग हुए शामिल
इस गरिमामय अवसर पर जामिया रहमानी के शिक्षकगण, प्रशासनिक अधिकारी, कर्मचारी, छात्र, और दूर-दराज से आए मेहमानों ने बड़ी संख्या में भाग लिया। कार्यक्रम का संचालन मौलाना खालिद रहमानी (अध्यापक, जामिया रहमानी मुंगेर) ने कुशलता से किया।
*फिक्रों नज़र टीवी’ पर जल्द उपलब्ध होंगी वीडियो
कार्यक्रम की रिकॉर्डिंग जल्द ही जामिया रहमानी के आधिकारिक मीडिया प्लेटफ़ॉर्म फिक्रों-नज़र टीवी’ के यूट्यूब चैनल पर अपलोड की जाएगी। ‘फ़िक्र-ओ-नज़र टीवी’ न सिर्फ़ संस्थान की गतिविधियों को कवर करता है, बल्कि इस्लामी शिक्षाओं, समसामयिक मुद्दों और धार्मिक संवादों पर भी विशेष कार्यक्रम प्रस्तुत करता है।
*धर्म और शिक्षा के केंद्र के रूप में जामिया रहमानी
गौरतलब है कि जामिया रहमानी मुंगेर देश के प्रमुख इस्लामी शिक्षण संस्थानों में से एक है और यहाँ हर वर्ष “ख़त्म बुख़ारी शरीफ़” सम्मेलन बड़े स्तर पर आयोजित किया जाता है।