दिल्ली रेलवे स्टेशन भगदड़: एसडीपीआई ने केंद्र सरकार को ठहराया जिम्मेदार

इंसाफ़ टाइम्स डेस्क

सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ इंडिया (SDPI) के राष्ट्रीय अध्यक्ष एम. के. फैज़ी ने नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर हुई भगदड़ को केंद्र सरकार की पूर्ण विफलता करार दिया है। इस दर्दनाक घटना में 18 लोगों की मौत हो गई, जिससे पूरे देश में शोक और आक्रोश की लहर दौड़ गई है।

*सरकार की घोर लापरवाही: एसडीपीआई
एसडीपीआई ने एक प्रेस बयान जारी कर इस घटना को लेकर केंद्र सरकार की निंदा की और पीड़ितों के परिवारों के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की। पार्टी ने कहा कि देश की राजधानी में, केंद्र सरकार की नाक के नीचे इस तरह की घटना सरकार की असफलता को दर्शाती है।

रिपोर्ट्स के अनुसार, यह भगदड़ प्रयागराज जाने वाली ट्रेनों के रद्द होने की वजह से हुई। प्रयागराज में महाकुंभ मेले का आयोजन चल रहा था, जिसके कारण बड़ी संख्या में यात्री रेलवे स्टेशन पर एकत्र हो गए। रेलवे अधिकारियों ने ना सिर्फ़ इस बढ़ती भीड़ का सही आकलन करने में असफलता दिखाई, बल्कि यात्रियों के लिए पर्याप्त ट्रेनें उपलब्ध कराने में भी पूरी तरह नाकाम रहे।

*एसडीपीआई की मांगें
एसडीपीआई ने मांग की है कि—
1.मृतकों के परिवारों और घायलों को उचित मुआवजा दिया जाए।
2.रेलवे प्रशासन और संबंधित अधिकारियों की लापरवाही की गहन जांच हो।
3.इस त्रासदी के लिए ज़िम्मेदार अधिकारियों पर कड़ी कार्रवाई की जाए।

*महाकुंभ के लिए भीड़ प्रबंधन में विफलता
महाकुंभ जैसे आयोजनों के दौरान लाखों लोग यात्रा करते हैं, लेकिन रेलवे प्रशासन द्वारा कोई उचित योजना नहीं बनाई गई। पहले से निर्धारित ट्रेनों को अचानक रद्द कर देना यात्रियों के लिए असहनीय स्थिति पैदा कर गया, जिसके कारण यह दर्दनाक हादसा हुआ।

*सरकार की जवाबदेही तय होनी चाहिए
एसडीपीआई ने कहा कि यह हादसा प्रबंधन की विफलता का जीता-जागता उदाहरन है। अगर सरकार और रेलवे विभाग समय रहते यात्रियों की सुरक्षा के लिए ठोस कदम उठाते, तो 18 निर्दोष लोगों की जान बचाई जा सकती थी।

एसडीपीआई ने अंत में दोहराया कि अगर सरकार भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए ठोस रणनीति नहीं बनाती, तो इस तरह की त्रासदियां फिर से हो सकती हैं।

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