
इंसाफ़ टाइम्स डेस्क
वक्फ संशोधन विधेयक 2024 के खिलाफ केरल के कोल्लम में एसडीपीआई (सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी ऑफ इंडिया) की अगुवाई में एक विशाल वक्फ संरक्षण रैली और ग्रैंड कॉन्फ्रेंस का आयोजन किया गया। हजारों लोगों की मौजूदगी में हुए इस कार्यक्रम का उद्घाटन प्रसिद्ध इस्लामी विद्वान मुहम्मद कुन्हू मौलवी ने किया। उन्होंने अपने संबोधन में केंद्र सरकार द्वारा प्रस्तावित वक्फ संशोधन विधेयक को मुस्लिम समुदाय के धार्मिक और संपत्ति अधिकारों पर हमला करार दिया।
*विधेयक के खिलाफ एकजुटता का संदेश
मौलाना ने कहा कि यह विधेयक सरकार को वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन में दखल देने की खुली छूट देगा, जिससे समुदाय की धार्मिक और सांस्कृतिक स्वतंत्रता को खतरा है। उन्होंने कहा कि यह विधेयक मुस्लिम समुदाय की धरोहर पर कब्जे की एक साजिश है और इसे किसी भी कीमत पर स्वीकार नहीं किया जाएगा।
इस मौके पर एसडीपीआई के स्थानीय और राज्य स्तर के कई नेताओं ने भी अपनी बात रखी। एसडीपीआई कोल्लम जिला अध्यक्ष ने कहा, “हम इस विधेयक को खारिज करते हैं और इसके खिलाफ पूरे देश में जागरूकता अभियान चलाएंगे। यह विधेयक मुस्लिम समाज को कमजोर करने और वक्फ संपत्तियों पर सरकारी नियंत्रण स्थापित करने की कोशिश है।”
*केरल विधानसभा ने भी जताई आपत्ति
केरल विधानसभा पहले ही सर्वसम्मति से एक प्रस्ताव पारित कर केंद्र सरकार से इस विधेयक को वापस लेने की मांग कर चुकी है। विधानसभा ने इसे राज्य के अधिकारों और अल्पसंख्यक समुदाय की स्वतंत्रता पर हमला करार दिया।
*देशभर में विरोध प्रदर्शन तेज
वक्फ संशोधन विधेयक के खिलाफ पूरे देश में विरोध प्रदर्शन तेज हो गए हैं। सोशल मीडिया पर #IndiaAgainstWaqfBill ट्रेंड कर रहा है, जहां हजारों लोग अपने विचार व्यक्त कर रहे हैं। देशभर के मुस्लिम संगठन, धार्मिक नेता और सामाजिक कार्यकर्ता इस विधेयक के खिलाफ एकजुट हो रहे हैं।
*एसडीपीआई की भविष्य की रणनीति
एसडीपीआई ने इस विधेयक के खिलाफ बड़े स्तर पर प्रदर्शन जारी रखने का ऐलान किया है। संगठन ने कहा कि अगर सरकार ने इसे वापस नहीं लिया, तो देशभर में व्यापक आंदोलन किया जाएगा।
*क्या है वक्फ संशोधन विधेयक 2024?
इस विधेयक के जरिए सरकार को वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन में हस्तक्षेप का अधिकार मिल जाएगा। इससे पहले, वक्फ बोर्ड स्वतंत्र रूप से अपनी संपत्तियों का प्रबंधन करता था। विरोधियों का मानना है कि यह कानून वक्फ संपत्तियों को सरकारी नियंत्रण में लाने की कोशिश है, जिससे अल्पसंख्यकों के अधिकारों को खतरा है।
कोल्लम में हुए इस वक्फ संरक्षण सम्मेलन ने यह स्पष्ट कर दिया कि मुस्लिम समुदाय इस विधेयक के खिलाफ एकजुट है और इसे किसी भी हाल में स्वीकार नहीं करेगा। एसडीपीआई सहित विभिन्न संगठनों ने इस बिल के खिलाफ लड़ाई को और तेज करने का संकल्प लिया है। आने वाले दिनों में यह आंदोलन और बड़ा रूप ले सकता है।